भारतीय गणराज्य में अठाईस राज्यों और आठ में से तीन केन्द्र-शासित प्रदेशों की प्रत्येक सरकार के मुखिया मुख्यमन्त्री कहा जाता है। भारत के संविधान के अनुसार राज्य स्तर पर राज्यपाल कानूनन मुखिया होता है लेकिन वास्तव में कार्यकारी प्राधिकारी मुख्यमन्त्री ही होता है। राज्य विधान सभा चुनावों के बाद राज्यपाल सामान्यतः सरकार बनाने के लिए बहुमत वाले दल (अथवा गठबन्धन) को सरकार बनाने के लिए आमन्त्रित करता है। राज्यपाल, मुख्यमंत्री को नियुक्त करता है जिसकी कैबिनेट विधानसभा के लिए सामूहिक रूप से जिम्मेदार होती है। यदि विधानसभा में विश्वासमत प्राप्त हो तो मुख्यमन्त्री का कार्यकाल सामान्यतः अधिकतम पाँच वर्ष का होता है; इसके अतिरिक्त मुख्यमन्त्री के कार्यकाल की संख्याओं की कोई सीमा नहीं होती।[1]
वर्तमान में जम्मू और कश्मीर के मुख्यमन्त्री का कार्यालय रिक्त है। वर्तमान में पदस्थ 30 मुख्यमन्त्रियों में पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी एकमात्र महिला मुख्यमंत्री हैं। मार्च 2000 से (7003889300000000000♠24 साल, 127 दिन ओडिशा के नवीन पटनायक सबसे लम्बे समय से पदस्थ मुख्यमन्त्री हैं। सबसे अधिक 8 बार बिहार के मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार हैं। केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन (आयु 79 वर्ष) सबसे बुजुर्ग और अरुणाचल प्रदेश के पेमा खांडू (जन्म 1979) सबसे युवा मुख्यमन्त्री हैं।[2]भारतीय जनता पार्टी के 12 पदस्थ और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के 3 पदस्थ है। इसके अतिरिक्त किसी भी अन्य दल के पदस्थ मुख्यमन्त्रियों की संख्या एक से अधिक नहीं है।